आइए आवारगी के साथ बंजारापन सर्च करें

31 January 2008

मुफ़्तिया वेबसाईट का ऑफ़र!

कल मैनें ई मेल चेक करने के लिए इनबॉक्स देखा तो देखा कि कोई बेनामी बंधु मेरी एक पुरानी पोस्ट पर कमेंट कर गए हैं। पढ़ा तो पाया कि ये बेनामी बंधु न तो पोस्ट पर कुछ कह रहे हैं नही गालियां दे रहे हैं। ये तो बस मुझे आमंत्रित कर रहे हैं कि मै उनके माध्यम से मुफ़्त में अपनी वेबसाईट बना लूं जिसमें न तो होस्टिंग का खर्चा आएगा न ही वेबस्पेस का खर्च, साथ ही मेरी उस भावी साईट के नाम पर अनगिनत ई मेल आई डी भी बनाई जा सकेगी। और बहुत से ऑफ़र हैं इसमें।

अब अपन ठहरे गैर-तकनीकी। सो अपन ने उस ऑफ़र का स्क्रीनशॉट लेकर इधर डाल दिया कि तकनीकी बंधु व वरिष्ठजन इसका विवेचन करें और अपनी राय बताएं।

17 टिप्पणी:

रंजू भाटिया said...

ऐसी मेल हमे भी आई है कुछ पता चले तो बताये कुछ मुझे भी :)

Pankaj Oudhia said...

मुझे भी विशेषज्ञो की राय सुननी है इस विषय मे। कही यह मिलियन डालर वाली आफ्रीकी मेल जैसा न हो। अधिकतर इन सब के पीछे काफी कुछ हिडन काँस्ट होती है।

पारुल "पुखराज" said...

Hmmmmmmmm

काकेश said...

जी यह तो गड़बड़ वाला खेल है. इस विषय पर अमित गुप्ता जी ने कहा था.

"
इसमें बिलकुल कैच है, पूरे का पूरा कैच है, कैच के बिना फोकट में कुछ मिलना
अत्यधिक दुर्लभ बात है!! तकरीबन पाँच वर्ष पहले जब यह सेवा नई-२ आई थी तब
मैंने भी यहाँ फोकट में amitgupta.tk रजिस्टर करवाया था। उस समय एक महीना
फ्री और फिर पैसे का प्रावधान नहीं था, उस समय दो तरह के डोमेन इनके पास
उपलब्ध थे, free और paid। free वाले में आपके डोमेन पर यह एक विज्ञापन
दिखाते थे और 90 दिन में आपके डोमेन पर कम से कम 30-40 विज़िटर आने आवश्यक
थे नहीं तो आपका डोमेन डिलीट हो जाता था। paid वाले में आप $10 देकर अपना
डोमेन रजिस्टर करवा सकते थे जिसपर न ही विज्ञापन दिखाया जाता था और न ही
90 दिन वाली सीमा थी तथा आप अन्य साधारण डोमेन की भांति इसमें अपने
होस्टिंग वाले सर्वर के nameserver भी लगा सकते थे। अच्छा समझ मैंने
रजिस्टर करवाया और फ्री डोमेन के साथ उपलब्ध रीडायरेक्ट सेवा द्वारा एक
फ्री सेवा पर होस्ट की हुई अपनी वेबसाइट पर इसको रीडायरेक्ट करवाता था।
और इसी डोमेन का प्रचार सर्च इंजन आदि में भी किया अपनी साइट के तौर
पर(फ्री सेवा का लिंक बहुत बड़ा था)। स्टैटकाउंटर द्वारा मुझे पता था कि
महीने के तकरीबन 70-80 विज़िटर इसी .tk डोमेन से होकर आते थे लेकिन एक दिन
आने बंद हो गए, जाँच करने पर पता चला कि इन लोगों ने डोमेन का अधिकार
मेरे खाते से छीन लिया था और मुझसे कोई $25-30 माँग रहे थे डोमेन का
अधिकार पाने के और अन्य सुविधाओं के।

तब जब मैंने थोड़ी और जाँच की तो पता चला कि ये लोग ऐसे ही करते हैं, औने-
पौने दाम माँग लेते हैं किसी भी डोमेन के और फ्री वाला मामला सिर्फ़ झांसा
देने का है क्योंकि आपको डोमेन का अधिकार छीनने और extortion का कारण दीन-
हीन टोकेलाउ लोगों की मदद करने का बताया जाता है।

इस (तरह के ) डोमेन के प्रोजेक्ट की मालिक अमेरिका की एक निजी कंपनी (होती) है और वह होने
वाली कमाई से टोकेलाउ लोगों की कितनी सहायता कर रही है इस बारे में कम से
कम मुझे तो पूरा का पूरा संदेह है!!! यह सिर्फ़ दीनों की सहायता के सुनहरे
वर्क में लिपटी बासी मिठाई है जिसको अन्जान लोग सोने के वर्क में लिपटी
ताज़ी मिठाई समझते हैं, कारण उनको एक महीने का फ्री डोमेन दिखाई देता है।

शास्त्री जी ने कहा :

आप उन से एक मुफ्त डोमेन लेकर उसका जो प्रचार करेंगे उसका फायदा उनको मुफ्त में मिलेगा. उनके विज्ञापन का फायदा अलग.जब आपका डोमेन आपके हाथ से छूट जायगा तब भी इसे वे लोग
जिंदा रखेंगे एवं खोज यंत्रों से मिलते ट्रेफिक का पूरा फायदा वे उठायेंगे. आप कुछ नहीं कर सकेंगे.

बिलकुल सही कहा शास्त्री जी इस बारे में, मेहनत करेगा कोई और खाएगा कोई!!

साथियों को अपने अनुभव के आधार पर यही नेक सलाह दूँगा कि एक महीने के
फ्री डोमेन के झांसे में मत आईये, हाथ में कुछ नहीं आने वाला। ज़रा
इंटरनेट पर सर्च कीजिए, बहुत से उदाहरण हैं वर्डप्रैस.कॉम और ब्लॉगर.कॉम
जैसी फ्री सेवाओं पर मौजूद अत्यधिक लोकप्रिय ब्लॉगरों के जो बिना अपने
डोमेन के ही लोकप्रिय हुए और जिन्होंने उसके बल पर पैसे भी कमाए। अमित
अग्रवाल और अमित वर्मा(इंडिया अनकट) जैसे भारतीय भी हैं। "डोमेन लेकर
प्रसिद्ध हो जाएँगे" यह सोचना ठीक वैसा है जैसे कोई अनाड़ी यह सोचे कि
अपनी गाड़ी लेते ही वह कुशल ड्राईवर बन जाएगा या बड़े(मल्टी-नैशनल) बैंक
में बचत-खाता खुलवाते ही यह सोचे कि वह अगले दिन ही रईस हो जाएगा!!

रही बात अपना डोमेन लेने की, तो अपना डोमेन अवश्य लीजिए मगर इस भ्रांति
के बिना लीजिए, और इस सेवा से मत लीजिए(मैं तो यही सुझाव दूँगा, अन्यथा
अनुभव से बड़ा आचार्य कोई होता नहीं)। वैसे भी डोमेन लेना कोई महंगा नहीं
है या बड़ी बात नहीं है, एक डोमेन आपका 450-500 रूपए वार्षिक में आ जाएगा
जो कि तकरीबन डेढ़ रूपए रोज़ का खर्च हुआ। :)"

मैं इससे सहमत हूँ. बाकी लोग भी इसे समझ लें.

mamta said...

असली माजरा क्या है ये तो पता चले।

समय चक्र said...

भाई अच्छी जानकारी दी है कम से कम आगे से लोग सतर्क तो रहेंगे, धन्यवाद

Sanjeet Tripathi said...

शुक्रिया काकेश जी!!
इससे बहुतों का मार्गदर्शन हो जाएगा!

Shastri JC Philip said...

कई सारे "केच" हैं. शर्त के कुछ बिंदु देखें:

2. The site is registered under hyperwebenable.com.

Minimum Requirement
3. The user should post at least 15 postings per month or bring minimum traffic of 100 hits per day.
4. The site will be deleted if user has very less postings or generate less traffic in there site.

आप यदि 100 हिट प्रति दिन नहीं ला पाये, या 15 पोस्ट प्रति माह न ला पाये तो आप इसे खो देंगे.

इतना ही नहीं, इतने हिट ले आयें तो भी डोमेन पर उनकी मालिकियत रहेगी, आपकी नहीं..


दू...............र रहें !!!!!!!

Shiv said...

भइया मुफ्त में कुछ मिलता है तो ले लो......:-)

Anonymous said...

काकेश जी ने अमित गुप्ता के हवाले से अच्छी जानकारी दी है. वैसे तो अपना खुद का स्वतंत्र डोमेन हो तो इससे बेहतर कुछ नहीं. यह जुगाड़ वाली बातें फंसाती ही हैं.

Gyan Dutt Pandey said...

हमारे पास भी यह मेल आया था। सोचा आपकी खुराफात न हो! :-)
यह काकेश जी ने बड़े सयाने जैसी बात बताई। उनको धन्यवाद।

ALOK PURANIK said...

मुफ्त में सिर्फ मां और बाप का प्यार मिलता है प्यारे। बाकी कुछ भी ना है मुफ्त का। मुफ्त का आफर जो दे, समझ लो, उसकी नजर तुम्हारी बनियान पर है। जमाये रहो। काकेशजी विकट ज्ञानी हैं, इस विषय के। उनसे राय मशविरा कर लिया करो, मुफ्त में।

दिनेशराय द्विवेदी said...

भैया फ्री में कभी कुध नहीं मिलता है।

राज यादव said...

संजीत भैया ..ये बेवकूफ बनाने का धंधा है...हाँ. ये आपको सभी चीजे फ्री में देंगे ..लेकिन कुछ महीने बाद ये आपसे होस्टिंग खर्च का deemand करेंगे..

36solutions said...

सभी शंकांए सुलझ गयीं, मुझे भी इन भाई साहब का कमेंट आया था, धन्‍यवाद ।

अजित वडनेरकर said...

सिर्फ एक ईमेल को सार्वजनिक करने से इतनी जानकारियां मुफ्त मिल गईं। शुक्रिया...

Anonymous said...

Search the word "cyber stalking", u will get answer to this. If u r getting emails on your chat room email ids that means one of the numerous confused chatters are trying to get your real contact details. never click or join on the basis of information u get via fake emails. although u can counter check by searching authenticity in various ways. but it is not advisable to join or accept such offers. on the contrary they may hack your pc & can steal your money or they may get your personal details & just out of frustration they may post them on filthy websites. you can also check the key word "think before you post" & adverse effects of your details to unwanted people.

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